लापरवाही की भेंट चढ़ी जल जीवन मिशन योजना

जल जीवन योजना के तहत चयनित गांव – 863
योजना का बजट – 1400 करोड़
पड़नी है पाइप लाइन – 12551 किलोमीटर

अभी तक पड़ी पाइप – 11

रायबरेली : गांवों में पानी की समस्या से जूझ रहे लोगों को शुद्ध पानी देने के लिए भारत सरकार ने जल जीवन मिशन योजना बनाई है। योजना के तहत जिले की 863 ग्राम पंचायतों में पानी की टंकी और और पाइप लाइन डालकर हर घर को पानी देने के लिए जल निगम ग्रामीण ने 2022 में योजना पर काम शुरू किया, योजना को दिसंबर 2024 में पूरा करने का समय शासन से निर्धारित किया है, लेकिन ठेकेदारों की मनमानी के कारण योजना को पूरा करने की चुनौती बनी हुई है।
जिले की आबादी करीब 40 लाख है। 980 ग्राम पंचायतें हैं। गांव के सभी घरों तक शुद्ध पानी पहुंचाने के लिए जल निगम ग्रामीण जल जीवन मिशन योजना के तहत प्रयासरत है। सवाल यह यह है कि दो साल में गांव के हर घर तक पानी पहुंचाने के लिए निर्धारित की गई समय सीमा पूरी होने में महज एक माह दूर है, लेकिन अभी करीब 20 फीसद काम शेष है।

गांव में ठेकेदारों की मनमानी से ग्रामीण परेशान हैं। सड़क के किनारे पाइप लाइन डालने के लिए खोदी गई नालियों की चपेट में आने से लोग चोटिल हो रहे हैं। इसके बाद भी जल निगम के अधिकारी समय पर काम पूरा होने का दवा कर रहे हैं। हकीकत यह है कि 863 पानी की टंकियों के सापेक्ष 162 पानी की टंकियों का निर्माण पूरा हुआ है। जल निगम के अधिकारियों का कहना है कि जून 2024 में जल जीवन मिशन योजना का काम पूरा करने की पहले समय सीमा तय की गई थी, लेकिन काम में हो रही देरी को देखते हुए निगम ने इस काम को पूरा करने के लिए 31 दिसंबर 2024 तक का समय बढ़ाने की मांग की। इसके बाद भी काम को पूरा करने की चुनौती बनी हुई है।

सफीकुर्ररहमान, अधिशासी अभियंता, जल निगम का कहना है कि 31 दिसंबर, 2024 तक जल जीवन मिशन योजना के काम को पूरा करने के लिए ठेकेदारों को निर्देश दिए गए हैं। अभी तक 162 पानी की टंकियों का निर्माण किया गया है और 12551 किलोमीटर पाइपलाइन डालने के सापेक्ष 1143 किलोमीटर पाइप लाइन डाली गई है। करीब 22 ग्राम पंचायतों में अभी जमीन नहीं मिली, जिसके कारण काम में अवरोध आ रहा है।

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