रिपोर्ट -सागर तिवारी ऊंचाहार
ऊंचाहार (रायबरेली): मोबाइल फोन और वाहन के प्रवेश पर पाबंदी लगाए जाने से नाराज सैकड़ों की संख्या में श्रमिकों ने सोमवार से काम बंद हड़ताल करते हुए एनटीपीसी के मुख्य द्वार पर परियोजना प्रबंधन के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए हंगामा शुरू कर दिया था। जो मंगलवार को भी जारी रहा। धरने के दौरान आक्रोशित मजदूर परियोजना के विरुद्ध नारेबाजी करते रहे।
अजीत कुमार, बाल जी तिवारी, मनोज कुमार, शिवांशु त्रिपाठी, सूरज पाल यादव, महेंद्र कुमार, कल्लू राम, डब्बू, अमरनाथ, अश्वनी कुमार आदि का कहना है कि एनटीपीसी परियोजना प्रबंधन द्वारा तानाशाही रुक अपनाया जा रहा है। अधिकारी तथा कर्मचारियों के वाहन और मोबाइल फोन पर कोई भी प्रतिबंध नहीं है। लेकिन श्रमिक अपनी मोटरसाइकिल, साइकिल तथा मोबाइल फोन लेकर परियोजना में प्रवेश नहीं कर सकते हैं। ऐसे में उन्हें कार्य स्थल तक आने जाने के लिए लगभग चार से पांच किलोमीटर पैदल चलना पड़ता है। इससे जहां उन्हें कम पर पहुंचने में देरी हो जाती है।
गेट के बाहर लावारिस रूप में खड़े इनके वाहन भी चोरी हो जाते हैं। यही नहीं साथ में मोबाइल फोन न होने पर यदि उनके साथ कोई घटना या दुर्घटना घटित हो जाए तो परिजनों मोबाइल फोन न होने की वजह से परिजनों को भी जानकारी नहीं दे सकते। परिवारिक जनों पर आपदा आने आने के बाद इन श्रमिकों का मोबाइल फोन बंद होने से इन्हें जानकारी नहीं मिल पाती है। आरोप है कि एनटीपीसी परियोजना प्रबंधन द्वारा पिछले दो महीनों से तानाशाही रवैया अपनाई जा रही है।
सूचना पर कोतवाल संजय कुमार ने मौके पर पहुंचकर श्रमिकों को समझाने का प्रयास किया था। लेकिन आक्रोशित श्रमिक अपनी मांगों पर अड़े रहे। और अनवरत धरना जारी है। एनटीपीसी परियोजना के कनिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी आज्ञा शरण ने बताया कि संवेदनशील क्षेत्र में सुरक्षा मानकों के दृष्टिगत एंड्रायड फोन लेकर जाना प्रतिबंधित है, इस दौरान श्रमिक कीपैड फोन का इस्तेमाल कर सकते हैं। साथ ही स्वयं के नाम मोटरसाइकिल व लाइसेंस, बीमा होने पर उसे परियोजना के अंदर ले जाने की अनुमति प्रदान की जाती है।