फर्जी फर्म और बिल बनाकर निकाली 4.24 करोड़ रुपये आईटीसी
सशक्त न्यूज नेटवर्क
अंबेडकरनगर जिले में अकबरपुर इलाके की दो फर्मों ने फर्जी बिलिंग कर 4.24 करोड़ रुपये का इनपुट टैक्स क्रेडिट निकालकर राजस्व को चूना लगा दिया। जांच में खुलासा होने के बाद राज्य कर विभाग हरकत में आया और दोनों फर्मों के खिलाफ जालसाजी की एफआईआर शहर कोतवाली में दर्ज कराई है।
राज्य कर अधिकारी खंड प्रथम विनोद कुमार के मुताबिक अकबरपुर के मेसर्स अंसारी ट्रेडर्स जानकी मंदिर शहजादपुर में निजामदुद्दीन अंसारी के नाम से फर्म संचालित है। इनके द्वारा नोएडा की डोलका रिटेलर्स प्राइवेट लिमिटेड से बिना वास्तविक खरीद बिक्री के जुलाई 2025 में दो करोड़ 49 लाख 9180 रुपये दर्शाते हुए एक करोड़ 18 लाख 66 हजार 926 रुपये की आईटीसी ले गई।
अगस्त माह में तीन करोड़ 34 लाख 97 हजार 789 रुपये की बिक्री दिखाकर 30 लाख 14 हजार 801 रुपये की कर जीएसटी की बोगस आईटीसी हस्तांतरित कर ली। राज्य कर अधिकारी खंड प्रथम विनोद कुमार की जांच में पंजीयन प्रार्थना पत्र में किरायानामा भी कूट रचित मिला। जांच के दौरान पते पर फर्म का संचालन नहीं मिला।
इसके बाद 30 सितंबर 2025 को पंजीयन निलंबित कर दिया गया था। दूसरे मामले में फर्म एके एंटरप्राइजेज के स्वामी अजय कुमार पर बिना वास्तविक खरीद के तीन फर्मों को लगभग 2.76 करोड़ रुपये की बोगस आईटीसी (इनपुट टैक्स क्रेडिट) पास करने का आरोप है। जांच में सामने आया कि पंजीयन के समय लगाया गया बिजली बिल कूटरचित था।
फर्म का मोबाइल नंबर भी बंद मिला। केंद्रीय प्राधिकारी ने फर्म का पंजीयन 25 अगस्त को निरस्त करने के बाद मंगलवार को अकबरपुर कोतवाली में केस दर्ज कराया है। बता दें कि इनपुट टैक्स क्रेडिट खरीद पर भुगतान करने वाला टैक्स है, जिसे वप्रोडक्ट या सेवाओं को बेचने पर देय कम टैक्स का क्लेम कर सकता है।
इसका लाभ लेने के लिए आपूर्तिकर्ता द्वारा जारी किया गया टैक्स इनवॉइस या डेबिट नोट होना चाहिए, लेकिन इन दोनों प्रकरणों में फर्जी दस्तावेज तैयार किए गए थे। कोतवाल श्रीनिवास पांडेय ने बताया कि धोखाधड़ी का केस दर्ज कर जांच की जा रही है।